सागर गुप्ता
कानपुर (अमर स्तंभ) / आपको बता दें कि कानपुर के साउथ में अवैध अस्पतालों की बाढ़ आ गई बिना फायर बिना एमपीसीसी ,बिना पोलूशन ,बिना रजिस्ट्रेशन के धड़ल्ले से अस्पताल संचालन किया जा रहा है ।स्वास्थ विभाग नोटिस के नाम पर खानापूर्ति कर रहा है। ऐसा ही प्रकरण कानपुर के गुजैनी में मां विजया हॉस्पिटल जिसका संचालक अपने आप को एक नंबर का डॉक्टर बताता है वही सूत्र द्वारा जानकारी मिली कि संचालक एक एमबीबीएस डॉक्टर के यहां कंपाउंडर का काम करता है। वही शास्त्री चौक से चंद कदम दूर श्री मा हॉस्पिटल जिसका संचालक अपने आपको अव्वल डॉ बताता है। वही जानकारी मिली कि ये भी एक एमबीबीएस डॉक्टर के यहां कंपाउंडर का काम करता है ।और वहां से मरीज तोड़ मरोड़ कर अच्छे इलाज का वादा कर अपने अस्पताल में भर्ती करता है। खबर चलने के बाद दोनों कंपाउंडर के एक ही देवता रूपी एमबीबीएस डॉक्टर है जो कि फोन द्वारा संबंधित अस्पताल का जिम्मा अपने ऊपर ले लेते हैं।और बताते है कि अपना हॉस्पिटल है। हाला की आप को बता दे की दोनों अस्पताल संचालक एक दूसरे के प्रति खूब शोर मचा चर्चा में आए हैं। और बताते हैं मैं सच्चा हूं मां विजया अस्पताल का संचालन झूठा है। वही श्री मां अस्पताल का संचालक बताता कि मैं सच्चा हूं विजया अस्पताल का संचालक झूठा है दोनों में काफी दिन से तोड़ मरोड़ चल रही है। हालांकि आप को बता दें कि किराए की बिल्डिंग में बिना मानक रजिस्ट्रेशन नवीनीकरण के कई दिनों से अवैध रूप से अस्पताल चल रहा रहे हैं आप सोचिए कि कंपाउंडर मरीजों का इलाज करते होंगे वो भी एक अस्पताल मालिक बनकर। हालांकि मामला जल्द सीएमओ डॉ. आलोक रंजन के संज्ञान में देने की तैयारी की जा रही ।वहीं फायर विभाग के अफसरों को भी सूचना देकर अस्पताल के मानकों की जांच करवाई जाएगी।